बोम्मई ने वैष्णव के साथ रेल परियोजनाओं की प्रगति की समीक्षा की
रेल परियोजनाओं के तेजी से क्रियान्वयन के लिए गठित होगी अधिकारियों की समिति
मुख्यमंत्री ने रेल परियोजनाओं के लिए आवश्यक भूमि के अधिग्रहण को प्राथमिकता देने के निर्देश संबंधित अधिकारियों को दिए।
बेंगलूरु/दक्षिण भारत। मुख्यमंत्री बसवराज बोम्मई और केंद्रीय रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने राज्य में चल रही रेल परियोजनाओं के तेजी से कार्यान्वयन के लिए रेलवे और कर्नाटक सरकार के वरिष्ठ अधिकारियों की एक समिति गठित करने का फैसला किया है।
बोम्मई और वैष्णव दोनों ने नौ नई रेलवे लाइन परियोजनाओं की समीक्षा की, जिन्हें भारत सरकार के साथ 50:50 के अनुपात में लिया गया है। उन्होंने बेहतर समन्वय के साथ और निर्धारित समय के भीतर सभी रेल परियोजनाओं को तेजी से पूरा करने के लिए रेलवे और राज्य सरकार दोनों के वरिष्ठ अधिकारियों की एक समिति गठित करने का संकल्प लिया।भूमि अधिग्रहण को प्राथमिकता
मुख्यमंत्री ने रेल परियोजनाओं के लिए आवश्यक भूमि के अधिग्रहण को प्राथमिकता देने के निर्देश संबंधित अधिकारियों को दिए। उन परियोजनाओं के लिए भूमि अधिग्रहण में तेजी लाई जानी चाहिए, जिनकी बहुत अधिक मांग है और जिन्हें शीघ्र पूरा किया जाना है।
अधिकारियों ने कहा कि नौ रेल परियोजनाओं के लिए 15,000 एकड़ जमीन की जरूरत है और 9,000 एकड़ जमीन के अधिग्रहण की प्रक्रिया पूरी हो चुकी है। इसके अलावा और 6,000 एकड़ जमीन का अधिग्रहण करने की जरूरत है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि यदि रेलवे विभाग और राज्य सरकारें अपने हिस्से का पैसा समय पर जारी करें तो सभी लंबित रेल परियोजनाओं को समयबद्ध रूप से पूरा किया जा सकता है।
समन्वय की जरूरत
अश्विनी वैष्णव ने कहा कि रेलवे परियोजनाओं का तेजी से क्रियान्वयन उनकी प्राथमिकता है, जिसके लिए राज्य सरकार और रेलवे के अधिकारियों को बेहतर समन्वय के साथ काम करना चाहिए। उन्होंने भूमि अधिग्रहण प्रक्रिया के लिए कर्नाटक सरकार की भी सराहना की।
बोम्मई और वैष्णव दोनों ने गडग-वाडी, रायदुर्ग-तुमकुरु, गिनिगेरा-रायचूर, तुमकुरु-चित्रदुर्ग-दावणगेरे, बागलकोट-कुदाची, कडुर-चिकमगलूरु-बेलूर, हासन-बेलूर, शिवमोग्गा, रानीबेन्नूर, मारीकुप्पम-कुप्पम, बेलगाम-धारवाड़ और अन्य नई रेलवे लाइन परियोजनाओं की प्रगति की समीक्षा की है।
दोनों ने बेंगलूरु उपनगरीय रेलवे लाइन और रेलवे लाइन के विद्युतीकरण पर भी चर्चा की। केंद्रीय मंत्री ने केपीटीसीएल को इस रेलवे लाइन के विद्युतीकरण के बाद आवश्यक कार्य करने के लिए कहा, क्योंकि रेलवे की मार्च 2023 तक हुब्बली-बेंगलूरु लाइन पर वंदे भारत एक्सप्रेस ट्रेन संचालित करने की योजना है।
इस अवसर पर केंद्रीय कोयला, खान और संसदीय कार्य मंत्री प्रह्लाद जोशी; सांसद एस मुनिस्वामी; अतिरिक्त मुख्य सचिव (वित्त) और विकास आयुक्त आईएसएन प्रसाद; मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव एन मंजूनाथ प्रसाद; एसीएस (बुनियादी ढांचा विकास) गौरव गुप्ता; दक्षिण पश्चिम रेलवे के महाप्रबंधक संजीव किशोर और अन्य उपस्थित थे।