मॉनसून से मिली राहत तो बरसीं परेशानियां भी

मॉनसून से मिली राहत तो बरसीं परेशानियां भी

बेंगलूरु। पिछले तीन-चार दिनों ने पूरे राज्य में जोर पक़ड चुकी मॉनसूनी बारिश की वजह से कई शहरों में जनजीवन अस्त-व्यस्त होने की खबर है। नदियों का पानी कई स्थानों पर ब्रिजों, पुलों और स़डकों के ऊपर से बह रहा है। जिलों के प्रशासनिक अधिकारियों ने आम जनता को इस परेशानी से निजात दिलाने के लिए प्रयास तेज कर दिए हैं।जानकारी के मुताबिक, कोडगु जिले का केरल से स़डक संपर्क खत्म हो चुका है। कावेरी नदी के उदगम स्थल भागमंडला में बा़ढ की स्थिति बनी हुई है। गुरुवार को धर्मस्थला और सुब्रमण्य जैसे तीर्थस्थलों का स़डक संपर्क भी बारिश से टूट कर गिरे एक विशालकाय पे़ड की वजह से टूट गया। काफी मशक्कत के बाद स्थानीय प्रशासन को पे़ड स़डक से हटाकर मुख्य मार्ग पर वाहनों की आवाजाही बहाल करने में सफलता मिल सकी। खबरों के अनुसार कोडगु, मैसूरु, चिक्कमगलुर और हासन जिलों में भारी बारिश के कारण बा़ढ की स्थिति बनी हुई है और सामान्य जनजीवन प्रभावित हुआ है। कोडगु और चिक्कमगलुर जिलों में प्रशासन ने तेज बारिश के मद्देनजर स्कूल-कॉलेजों में आज लगातार दूसरे दिन छुट्टी की घोषणा कर दी। मडिकेरी और मेंगलूरु के साथ ही प़डोसी राज्य केरल के कई हिस्सों में भी तेज से अत्यधिक तेज बारिश की रिपोर्ट मिली है। इन स्थानों पर स़डक यातायात बुरी तरह से प्रभावित है। कई जगहों से भूस्खलन की खबरें भी प्राप्त हुई हैं्। कोडगु जिले में तीन नदियों के संगमस्थल पर भी पानी का स्तर खतरे के निशान की ओर ब़ढने की जानकारी मिली है।बहरहाल, पिछले दो वर्षों से सूखे के हालात का सामना करने वाले राज्य के लोगों के लिए मॉनसून की यह सक्रियता राहत दिलाने वाली है। उन्हें उम्मीद है कि कोडगु इलाके में हो रही भारी बारिश से इस वर्ष पानी की किल्लत से जूझने की जरूरत नहीं होगी। यह इलाका कावेरी के जलभराव क्षेत्र में होने की वजह से बारिश का पानी इस नदी के जरिए पूरे कर्नाटक के साथ ही तमिलनाडु के किसानों के लिए भी पानी का संकट दूर कर सकता है।बहरहाल, इस राहत के बीच यह खबर भी आई है कि कलसा और होरानाडु के बीच स़डक यातायात बारिश की वजह से प्रभावित हुआ है। इन दोनों तालुकों की कई महत्वपूर्ण स़डकें जलमग्न हो चुकी हैं्। वहीं, हासन जिले से मिली खबरों के मुताबिक, कबिनी बांध में आज दिन भर १३ हजार ५०० क्यूसेक पानी की आवक हुई है। केरल के वायनाड इलाके में हुई भारी बारिश के बाद इस बांध का जलस्तर और २२६९ फीट पर पहुंच गया। अब इस बांध में अधिकतम १५ फीट पानी का भंडारण हो सकता है। जल संसाधन विभाग के अधिकारियों ने बताया कि पानी की आवक ब़ढने के बाद कबिनी बांध से आज १ हजार क्यूसेक पानी बाहर छो़डा गया है।मंड्या के मशहूर कृष्णराजसागर बांध में भी अच्छी मात्रा में पानी पहुंच रहा है। आज इस बांध का जलस्तर ७८.८५ फीट पाया गया, जबकि बांध की भंडारण क्षमता १२४.८० फीट है। आज इस बांध में ३३३६ क्यूसेक पानी पहुंचा और इससे १५८२ क्यूसेक पानी बाहर छो़डा गया।जानकारी के मुताबिक, आमतौर पर सूखे का सामना करने वाले बेलगावी जिले में भी भारी मॉनसूनी बारिश के चलते जनजीवन पटरी से उतर गया। जिल के कई स्थानों पर बा़ढ का पानी स़डकों पर आ चुका है और स़डकों पर लगभग छह फीट से अधिक पानी जम गया है। मलप्रभा और घटप्रभा नदियों के जलभराव क्षेत्रों में हो रही अच्छी बारिश के कारण यह स्थिति बनी है। जिले के कई निचले इलाकों में बसने वाले परिवारों के घरों में पानी घुसने की खबरें भी आई हैं, जिसके कारण लोगों को बिना सोए रात गुजारनी प़ड रही है। बताया जाता है कि बेलगावी जिले की वेदगंगा और अन्य नदियां भी खतरे के निशान के पास पहुंच चुकी हैं।उत्तर कन्ऩड जिले से आ रहीं खबरों में भी भारी बारिश की जानकारी मिली है। इससे एक तरफ लोगों को परेशानियों का सामना करना प़ड रहा है तो दूसरी तरफ किसानों में हर्ष की स्थिति बनी हुई है। उन्हें हाल के दिनों में मॉनसून कमजोर रहने का डर सता रहा था। अब उन्होंने पूरी तैयारी के साथ अपने-अपने खेतों में हल-बैल के साथ काम करना शुरू कर दिया है। मौसम विभाग के आंक़डों के मुताबिक, जून में मॉनसून से अपेक्षा की तुलना में सिर्फ ३४ प्रतिशत कम बारिश हुई थी, जबकि पिछले चार दिनों से मॉनसून पूरी ताकत के साथ बरस रहा है।

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