स्वच्छता ही सही मायने में मानवता की सेवा : राष्ट्रपति
स्वच्छता ही सही मायने में मानवता की सेवा : राष्ट्रपति
कानपुर देहात। स्वच्छता को सही मायने में मानवता की सेवा करार देते हुए राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने विश्वास व्यक्त किया कि उत्तर प्रदेश खुले में शौच मुक्त होने से देश के अन्य राज्यों से पीछे नहीं रहेगा। देश के प्रथम नागरिक का पद संभालने के बाद पहली बार प्रदेश का दौरा कर रहे कोविंद शुक्रवार को अपने गृह जिले कानपुर देहात में थे।इस मौके पर उन्होंने ईश्वरी गंज में ’’स्वच्छता ही सेवा’’ कार्यक्रम की शुरुआत की और स्वच्छता अभियान शुरू करने वाले पांच लोगों का सम्मान किया। उन्होंने कहा कि स्वच्छता केवल सफाई कर्मियों की जिम्मेदारी नहीं है। गंदगी किसी भी समाज के लिए अभिशाप है। इससे भी बीमारियां होती है। स्वच्छता सच्चे रूप में मानवता की सेवा है। देश के प्रथम नागरिक ने कहा कि देश में छह करो़ड से अधिक लोग मानसिक बीमारी से जूझ रहे हैं। इसकी मुख्य वजह खुले में शौच और गंदगी है।कोविंद ने कहा, हमारा देश गंदगी के खिलाफ ल़डाई ल़ड रहा है। इसका बी़डा प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने उठाया है। ईश्वरीगंज गांव को बधाई देता हूं, इन्होंने स्वच्छता के लिए सराहनीय काम किया है। हमारे गांव और शहर स्वच्छ रहे ये काम हमको करना है। ये जिम्मेदारी हम सबकी है। माहात्मा गांधी ने कहा था जब तक हम सब अपने हाथ में झा़डू और बाल्टी नहीं उठाएंगे देश स्वच्छ नहीं होगा। उन्होंने शौचालय नहीं होने से शादी न करने वाली बेटियों को बधाई देते हुए कहा कि जब महिलाएं खेत में शौच को जाती हैं तो घर के ब़डे बुजुर्ग तब तक तनाव में रहते हैं जब तक वह आ न जाएं। शौचालय की मांग करने वाली युवतियों की मुहिम से नि:संदेह ब़डा बदलाव देखने को मिलेगा। राष्ट्रपति ने कहा, भारत के राष्ट्रपति का पदभार संभालने के बाद ये मेरी पहली कानपुर यात्रा है। मैंने कानपुर के छोटे देहात से अपनी जीवन की शुरुआत की। कानपुर का गौरवशाली इतिहास हमेशा मुझे प्रेरणा देता रहा है।ृ्यद्बत्रय्द्न ·र्ैंर् त्रय्द्यर्र्ड्डैं ·र्ैंर् फिल्म अभिनेता अमिताभ बच्चन की तारीफ करते हुए उन्होंने कहा, अमिताभ बच्चन का एक विज्ञापन आ रहा है कि दरवाजा बंद तो बीमारी बंद। ये सुनने में कितना अच्छा लगता है। ये सुनने में ही नहीं करने में भी अच्छा है। लोगों को लगता है कि अमिताभ इतने ब़डे कलाकर हैं तो बहुत पैसा लेते होंगे लेकिन ऐसा नहीं है। वह बिना कुछ लिए इस विज्ञापन को करते हैं। ऐसा काम कोई राष्ट्र निर्माता ही कर सकता है। इस मौके पर राष्ट्रपति के साथ राज्यपाल राम नाइक, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ तथा उप मुख्यमंत्री डॉ. दिनेश शर्मा भी कानपुर देहात में सफाई अभियान को गति देने पहुंचे।द्यय्ज्द्नप्द्म द्बष्ठ्र ·र्ैंह्यप्ैंख्र द्मष्ठ द्यह्यझ्त्र ्य·र्ैंद्भय् द्गप्रप्ष्ठत्र घ्झ्य्द्घराष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने राजभवन की धन्वन्तरि वाटिका में ’’श्वेत चम्पा’’ का पौधा रोप कर देशवासियों को स्वस्थ पर्यावरण के लिए अधिक से अधिक वृक्षारोपण करने का संदेश दिया। इस मौके पर कोविंद की पत्नी सविता कोविंद, राज्यपाल राम नाइक तथा उनकी पत्नी कुंदा नाईक ने भी ’’श्वेत चम्पा’’ के पौधे भी रोपित किए। वाटिका के प्रभारी एवं आयुर्वेद चिकित्सक डॉ. शिव शंकर त्रिपाठी ने राष्ट्रपति को वर्ष २००१ से २०१६ तक धन्वन्तरि वाटिका द्वारा प्रकाशित पत्रक ’’शतायु की ओर’’ के सोलह अंकों का संग्रह भेंट किया गया। इन पत्रकों में आयुर्वेद से जन स्वास्थ्य को कैसे निरोग रखा जाये, की जानकारी दी गई है। ेंर्े ध्य्क्व प्रय्ह्रघ्य्ध्द्भ द्धद्मय्द्मष्ठ ·र्ैंय् ध्ूद्भ दृ द्भह्ख्र्मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इस मौके पर कहा कि उनकी सरकार ने उत्तर प्रदेश में ३१ दिसम्बर तक ७८ लाख शौचालय बनाने का लक्ष्य रखा है और इसे हर हाल मे पूरा करने के लिए सरकार कटिबद्ध है। उन्हें विश्वास है कि जनता के सहयोग से अधिकारी निश्चित समयावधि में लक्ष्य को हासिल कर लेंगे।द्बष्ठद्यय् फ्झ्द्मय् र्žय्द्य झ्श्नख्रष्ठप्रय् क्वरुध्ष्ठ द्बष्ठ्र प्रय्ह्रघ् फ्ष्ठ द्बरुर्टैं ब्ह् दृ द्मय्ं·र्ैंराज्यपाल राम नाइक ने कहा कि वह मुबंई से हैं। उन्होंने मुंबई की झुग्गी-झोप़डी का प्रतिनिधित्व किया। वहां १० बाई १० के घर में भी शौचालय होते थे। अब उनका सपना है कि उत्तर प्रदेश खुले में शौच से मुक्त हो। द्यय्उुझ्यत्र द्मष्ठ ख्रर्द्मख्रद्भय्ध् र्झ्य्क्द्भय्द्भ ·र्ैंह् य्हय्ैंज्यध् ख्रर्राष्ट्रपति राम नाथ कोविंद ने अपने उत्तर प्रदेश के दौरे के दूसरे दिन शुक्रवार को लखनऊ में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के विचारक दीनदयाल उपाध्याय को श्रद्धांजलि अर्पित की। राष्ट्रपति ने लखनऊ स्थित दीनदयाल उपाध्याय स्मृति वाटिका पहुंचकर उपाध्याय को श्रद्धांजलि अर्पित की। इस दौरान उनके साथ राज्यपाल राम नाइक और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ भी मुख्य रूप से उपस्थित थे। श्रद्धांजलि अर्पित करने के बाद कोविंद राजभवन लौटे, जहां वह कुछ लोगों से मुलाकात की।