साल 2021 को बेहतर बनाएंगे ये 21 कदम

साल 2021 को बेहतर बनाएंगे ये 21 कदम

साल 2021 को बेहतर बनाएंगे ये 21 कदम

नए साल 2021 से बहुत उम्मीदें हैं।

नई दिल्ली/दक्षिण भारत। जीवन में सुखी रहने का मूलमंत्र क्या है? इस पर आदिकाल से लेकर आज तक अनेक ऋषियों, विद्वानों ने ग्रंथों में अपने अनुभव और उपाय बताए हैं। साल 2020 हम सबके लिए ऐसे अनुभव लेकर आया जिन्हें भूलना आसान नहीं होगा। कहा जाता है कि समझदार वही होता है जो अनुभवों से सबक लेकर बेहतर भविष्य की बुनियाद रखे। हमें भी 2020 को सबक देनेवाले साल के तौर पर याद रखते हुए 2021 की बेहतरी के लिए योजना बनाकर उस पर अमल करना चाहिए। यूं तो ऐसी कई बातें हैं जो भविष्य की बेहतरी के लिए जरूरी हैं लेकिन हम उनमें से 21 ऐसे बिंदु ढूंढ़कर लाए हैं जिन पर सही ढंग से काम किया जाए तो आप यकीनन 2021 को बहुत बेहतर बनाने में कामयाब होंगे।

1. धन से बड़ी संपत्ति है स्वास्थ्य। अगर स्वास्थ्य अच्छा नहीं तो धन किस काम का? इसलिए 2021 में स्वास्थ्य को बेहतर बनाने के लिए योग, ध्यान, प्राणायाम, व्यायाम और संतुलित आहार को अपने जीवन का हिस्सा बनाइए। याद रखें, अभी महामारी समाप्त नहीं हुई है। ऐसे में मास्क, सोशल डिस्टेंसिंग सहित सभी सावधानियों का पालन करें।

2. हमारे पुरखों ने ज्यादा कमाई, ज्यादा खर्च की तुलना में कम कमाई लेकिन बचत को बेहतर बताया है। कोरोना महामारी ने हमें बचत का महत्व खूब सिखा दिया। अब नए साल में अपने आर्थिक भविष्य की योजना बनाएं, बचत को गंभीरता से लें। बच्चों को भी बचत करने के लिए प्रोत्साहित करें।

3. नए साल में कम से कम कोई एक हुनर जरूर सीखें। याद करें वो बीते दिन, जब आपकी कोई हॉबी थी, कुछ नया सीखना चाहते थे। ज़िंदगी की भाग-दौड़ में यह सब याद ही नहीं रहा, तो अब अतीत की धूल झड़काएं और उस हुनर को पंख दें।

4. कोरोना महामारी में जब भारत को आर्थिक संबल की जरूरत महसूस हुई तो देश के कारोबारी वर्ग ने बहुत साथ दिया। हम नए साल में यह संकल्प लें कि जब खरीदारी करेंगे तो देश में बनी वस्तुओं/सेवाओं को प्राथमिकता देंगे ताकि हमारी अर्थव्यवस्था मजबूत हो।

5. कड़वे और मीठे का नाम ही ज़िंदगी है। अगर अतीत की कड़वाहट दिलो-दिमाग पर हावी रहेगी तो वर्तमान और भविष्य चौपट हो जाएगा। इसलिए कड़वाहट भुलाकर लोगों को माफ करें और सुनहरे भविष्य की उम्मीदों के साथ आगे बढ़ें।

6. भाषा कुछ अक्षरों का समूहभर नहीं होती। यह अपने आप में एक संस्कृति और जुड़ाव को समाए रखती है। अगर संभव हो तो नए साल में कोई एक नई भाषा जरूर सीखें।

7. अब रोज डायरी लिखने की आदत नहीं रही, तो क्या हुआ! अपने अच्छे अनुभव और सुनहरे लम्हों को पन्नों पर संजोया जा सकता है। नए साल के लिए अपने लक्ष्य डायरी में लिखें और उन्हें समय-समय पर पढ़ते रहें ताकि वे आपकी नजरों से ओझल न हों।

8. आपने गौर किया होगा कि दैनिक जीवन में ऐसी कई चीजें हैं जो आपके ज्यादा काम नहीं आतीं। उनके बिना भी आसानी से गुजारा हो सकता है। उनकी सूची बनाएं और संभव हो तो उन लोगों को दे दें जिन्हें उनकी बहुत जरूरत है।

9. समय का पालन बहुत अच्छी आदत है लेकिन बहुत कम लोग इस पर अमल कर पाते हैं। नया साल या कहें अभी से, समय की पाबंदी को अपने जीवन का हिस्सा बनाइए। समय की कद्र करेंगे तो वह आपकी कद्र करेगा।

10. दुनिया में जिन देशों ने डिजिटल पेमेंट को बढ़ावा दिया, उनकी अर्थव्यवस्थाओें को इस कदम का फायदा मिला। भारत में भी डिजिटल पेमेंट का काफी चलन है लेकिन बहुत लोग इससे परिचित होने के बावजूद परंपरागत मुद्रा का ही उपयोग कर रहे हैं। नए साल में हम डिजिटल पेमेंट अपनाएंगे तो देश की अर्थव्यवस्था के लिए कुछ सकारात्मक कर सकेंगे।

11. स्वच्छता का महत्व हम सब जानते हैं लेकिन सार्वजनिक जीवन में यह पूरी तरह से हमारे आचरण का हिस्सा नहीं बन पाया है। अक्सर विदेशी पर्यटक अपने देश जाकर हमारी संस्कृति की तो खूब तारीफ करते हैं लेकिन यहां खराब सफाई व्यवस्था पर नाराजगी जताते हैं। हम प्रतिज्ञा करें कि सार्वजनिक स्थानों को स्वच्छ रखेंगे।

12. किताबें अच्छी मित्र और शिक्षक कही जाती हैं। हाल के वर्षों में किताबें पढ़ने की प्रवृत्ति में कमी देखी गई। अगर हम 2021 में अच्छी किताबें पढ़ने की आदत डाल लें तो सोने पर सुहागा।

13. इंटरनेट जानकारी का विशाल भंडार है, पर जरूरी नहीं कि यहां हर चीज उपयोगी और सही हो। हमें नए साल में एक जागरूक और समझदार इंटरनेट यूजर बनना चाहिए। फेक न्यूज और भड़काऊ सामग्री को शेयर न करें। विज्ञान के इस वरदान का उपयोग अच्छी चीजें सीखने और अच्छाई फैलाने में करें।

14. इंटरनेट से बाहर भी दुनिया है। हमेशा इसी में न खोए रहें। अपने परिवार, पड़ोसी, मित्र और ​परिचितों से बात, मुलाकात करें। जो लोग आपसे कम सामर्थ्य वाले हैं, उनकी यथासंभव सहायता करें।

15. हमारा देश कई सभ्यताओं का आंगन है। हर राज्य की भाषा, पहनावा, खानपान, संगीत, लोककथाएं हैं जो भारतभूमि को समृद्ध बनाते हैं। प्राय: हम अपने गृहराज्य के बारे में तो बहुत जानते हैं लेकिन सुदूर राज्यों के बारे में कम जानकारी रखते हैं। नए साल में हर राज्य की विशेषताओं के संबंध में अपना ज्ञान बढ़ाएं।

16. घर में सफाई, कपड़े धोना, बर्तन साफ करना, सब्जी काटना, खाना बनाना जैसे काम सिर्फ महिलाओं के लिए नहीं, सबके लिए हैं। अगर आप ये करना जानते हैं तो हाथ बंटाइए। यदि नहीं जानते तो सीखिए।

17. ज़िंदगी हमें ‘आधा गिलास खाली’ या ‘आधा गिलास भरा’ या ‘आधा गिलास पानी और आधा गिलास हवा’ दिखाती है। यह हमारे नजरिए पर निर्भर करता है कि हम क्या देखते हैं। वैसे तीसरा नजरिया बेहतरीन माना जाता है जिसे हमें अपनाना चाहिए।

18. कहते हैं कि ख्वाहिशें तो बादशाहों की भी पूरी नहीं हुईं। जरूरी नहीं कि ज़िंदगी में हमें वह सब मिल ही जाए जिसकी उम्मीद करते हैं। हालांकि मेहनत करते रहना चाहिए लेकिन नाउम्मीदी और निराशा से बचना चाहिए। गौर कीजिए, आपके पास ऐसा बहुत कुछ है जो इस दुनिया में करोड़ों लोगों को सपने में भी उपलब्ध नहीं।

19. विवाह सहित विभिन्न संस्कार हमारे जीवन को मर्यादित रखते हैं परंतु समय के साथ इनमें कई कुरीतियां, फिजूलखर्चियां आ गईं। कोरोना महामारी में लोगों ने फिजूलखर्ची से बचना बेहतर समझा। वहीं, अब फिर से वही पुराना सिलसिला शुरू होता जा रहा है। हमें 2021 के लिए गंभीरता से यह संकल्प लेना चाहिए कि फिजूलखर्ची से दूर रहेंगे।

20. दुनिया में सबकुछ नकारात्मक और विनाशकारी ही नहीं हो रहा। समाज और मानवता को समर्पित अच्छे काम भी हो रहे हैं। नए साल में खुद से यह वादा करना चाहिए कि हम समाज में सकारात्मक बातें फैलाएंगे।

21. कोरोना के कारण लॉकडाउन लगा तो देश-दुनिया में जलस्रोत, पर्वत, वायुमंडल निर्मल होने लगे। ऐसा लग रहा था कि प्रकृति ने कुछ राहत की सांस ली है। आधुनिकता के नाम पर हमने धरती माता का कितना नुकसान किया है, इसके अनेक उदाहरण सामने आए। हमें 2021 में ऐसे प्रयास करने चाहिए जिससे मिट्टी, पानी, हवा सबकुछ निर्मल, स्वच्छ हो। अगर धरती स्वस्थ होगी तो ही हम स्वस्थ होंगे और हमारा अस्तित्व रहेगा।

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