यहां नक्सल प्रभावित 17 सुदूर गांवों में पहली बार पहुंची बिजली

बच्चों ने नृत्य किया, बुजुर्गों ने पटाखे फोड़े

यहां नक्सल प्रभावित 17 सुदूर गांवों में पहली बार पहुंची बिजली

Photo: PixaBay

रायपुर/दक्षिण भारत। छत्तीसगढ़ के नक्सल प्रभावित मोहला-मानपुर-अंबागढ़ चौकी जिले में लगभग दुर्गम पहाड़ों और घने जंगलों के बीच बसे 17 गांवों को पहली बार आपूर्ति ग्रिड से बिजली मिली है। अधिकारियों ने शुक्रवार को यह जानकारी दी।

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उन्होंने बताया कि विद्युतीकरण से लगभग 540 परिवार लाभान्वित होंगे। यह काम मुख्यमंत्री मजराटोला विद्युतीकरण योजना के तहत 3 करोड़ रुपए की लागत से किया गया है।

दुर्गम भूभाग के कारण नक्सली खतरे के बीच इन क्षेत्रों तक पहुंचना बेहद चुनौतीपूर्ण था। आधिकारिक बयान में कहा गया है कि इन गांवों में ग्रिड के माध्यम से बिजली की आपूर्ति प्रदान करना किसी मिशन से कम नहीं था।

गांवों में बल्ब जलाने के लिए सौर ऊर्जा की सुविधा तो थी, लेकिन रखरखाव संबंधी समस्याओं का सामना करना पड़ा। अधिकारियों ने बताया कि कई गांवों में सौर पैनल चोरी हो गए, जिससे बच्चों को केरोसिन लैंप के नीचे पढ़ाई करने के लिए मजबूर होना पड़ रहा था।

इसमें कहा गया है कि हाल ही में बिजली ग्रिड से जुड़ने के बाद कटुलझोरा, कट्टापार, बोदरा, बुकमार्का, संबलपुर, गट्टेगहन, पुग्दा, अमाकोदो, पेटेमेटा, ताटेकासा, कुंडलकल, रायमनहोरा, नैनगुडा, मेटाटोडके, कोहकाटोला, एडासमेटा और कुंजकन्हार गांवों में जश्न मनाया गया।

इसमें कहा गया है, 'कुछ गांवों में बच्चों ने नृत्य किया, जबकि अन्य में बुजुर्गों ने अपनी खुशी व्यक्त करने के लिए पटाखे फोड़े, क्योंकि यह वह क्षण था जिसका वे दशकों से इंतजार कर रहे थे।'

इन 17 गांवों के 540 परिवारों में से 275 को अब तक बिजली कनेक्शन मिल चुका है। एक अधिकारी ने बताया कि बाकी बचे घरों में बिजली पहुंचाने का काम चल रहा है।

परियोजना के तहत तातेकासा में 25 केवीए का ट्रांसफॉर्मर लगाया गया है। सरकारी बिजली कंपनी के एक अधिकारी ने बताया कि इस उद्देश्य के लिए 45 किलोमीटर लंबी 11 केवी लाइन, 87 लो-प्रेशर पोल और 17 ट्रांसफॉर्मर लगाए गए हैं।

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