समाज के कल्याण में नौकरशाहों की भूमिका अहम : पलानीस्वामी

समाज के कल्याण में नौकरशाहों की भूमिका अहम : पलानीस्वामी

चेन्नई। मुख्यमंत्री ईडाप्पाडी के पलानीस्वामी ने सोमवार को यहां राज्य सचिवालय स्थित नामक्कल कविनग्नार मल्लिगै भवन में राज्य के भारतीय प्रशासनिक सेवा (आईएएस) और भारतीय पुलिस सेवा (आईपीएस) अधिकारियों के तीन दिवसीय सम्मेलन का शुभारंभ किया। इस अवसर पर राज्य के विभिन्न जिलों के कलेक्टरों और पुलिस अधीक्षकों को संबोधित करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि लोगों के लिए कल्याणकारी योजनाओं को लागू करने में नौकरशाहों की भूमिका अहम होती है।न्होंने कहा कि आईएएस और आईपीएस अधिकारी लोगों की जरुरतों और उनकी समस्याओं के बारे में जानने के लिए एक प्रभावी माध्यम हैं। उन्होंने कहा, ‘आप जैसे नौकरशाहों के माध्यम से ही विभिन्न कल्याणकारी योजनाएं व्यापक स्तर पर लोगों तक पहुंचती हैं। इसके साथ ही लोगों को असामाजिक और सरकार विरोधी ताकतों से बचाने में भी आप जैसे अधिकारियों की भूमिका महत्वपूर्ण होती है। पुलिस और प्रशासनिक अधिकारी जनता से सीधे तौर पर जु़डे होते हैं और उनकी समस्याओं का समाधान करने के लिए हमेशा तैयार रहते हैं इस प्रकार के कार्यों को करने के लिए काफी समर्पण की आवश्यकता होती है।मुख्यमंत्री ने अधिकारियों से अनुरोध किया कि वह विभिन्न कल्याणकारी योजनाओं को जनता तक पहुंचाने के लिए सरकार और लोगों के बीच की खाई को पाटने का काम करें। मुख्यमंत्री ने सभी अधिकारियों को जनता के सेवक के रुप में काम करने का आवाह्न किया। उन्होंने अधिकारियों के समक्ष पूर्व मुख्यमंत्री जयललिता के शब्दों को रखते हुए कहा ‘यह महत्वपूर्ण है कि हमें जनता के पक्ष में होना चाहिए इससे कोई मतलब नहीं है कि वह हमारे पक्ष में हैं या नहीं मुख्यमंत्री ने राज्य के आईएएस और आईपीएस अधिकारियों को आपसी समन्वय मजबूत करने के लिए कहा। उन्होंने कहा कि आतंकवाद, संप्रदायवाद और वामपंथी उग्रवाद मौजूदा समय में समाज के लिए ब़डा खतरा हैं। इन सभी ताकतों से निपटने के लिए हमारी खुफिया और जांच एजेंसियों को मजबूत होना होगा। पलानीस्वामी ने अधिकारियों से कहा कि आप केवल राज्य के विकास के लक्ष्य के साथ कार्य करें। प्रशासनिक अधिकारियों को जनता के मन में यह विश्वास पैदा करना चाहिए कि किसी भी प्रतिकूल स्थिति में वह उनके साथ हैं। इसके लिए पुलिस और प्रशासनिक अधिकारियों को जनता से मैत्रीपूर्ण संवाद कायम करने की आवश्यकता है।्यप्यद्नस्त्रय् ·र्ैंत्द्भय्ह्लय्·र्ैंय्द्यर्‍ द्भह्ज्द्मय्ृह्र ·र्ष्ठैं द्धय्द्यष्ठ द्बष्ठ्र ब्ह्ख्र्‍ घ्घ्य्श्चसोमवार को तीन दिवसीय सम्मेलन के पहले दिन मुख्यमंत्री ने कलेक्टरों और पुलिस अधीक्षकों के संयुक्त सत्र को संबोधित किया। सम्मेलन के अगले दो दिनों के दौरान मुख्यमंत्री विभिन्न जिलों के कलेक्टरों और पुलिस अधीक्षकों को अलग-अलग संबोधित करेंगे और उनके द्वारा अपने अधिकार क्षेत्रों में किए जा रहे कायार्ें की समीक्षा करेंगे। ज्ञातव्य है ेकि इस सम्मेलन का आयोजन चार वर्षों के लंबे अंतराल के बाद हो रहा है। इस दौरान राज्य में मौजूदा समय में चल रहे विभिन्न कल्याणकारी योजनाओं के साथ आने वाले समय में राज्य में शुरु की जाने वाली कल्याणकारी योजनाओं के बारे में चर्चा करने की संभावना है। इस कार्यक्रम के दौरान सभी जिलों के कलेक्टरों और पुलिस अधीक्षकों द्वारा अपनी जरुरतों और समस्याओं से मुख्यमंत्री को अवगत कराया जाएगा। उल्लेखनीय है कि पिछली बार वर्ष २०१४ में इस सम्मेलन का आयोजन तत्कालीन मुख्यमंत्री जयललिता की अध्यक्षता में हुआ था। सोमवार को सम्मेलन के शुभारंभ के मौके पर उप मुख्यमंत्री ओ पन्नीरसेल्वम, राज्य की मुख्य सचिव गीरिजा वैद्यनाथन, राज्य के वित्त मत्स्य मंत्री डी जयकुमार, राजस्व मंत्री आरबी उदय कुमार, नगरपालिका प्रशासन मंत्री एसपी वेलूमणि सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी भी उपस्थित थे।

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