एकनाथ शिंदे ने रामलला के दर्शन किए, उद्धव ठाकरे पर साधा निशाना

महाराष्ट्र का मुख्यमंत्री बनने के बाद पहली बार अयोध्या पहुंचे शिंदे

एकनाथ शिंदे ने रामलला के दर्शन किए, उद्धव ठाकरे पर साधा निशाना

शिंदे ने कहा कि बाला साहब ठाकरे का अयोध्या में भव्य और दिव्य राम मंदिर निर्माण का सपना अब पूरा हो रहा है

अयोध्या/भाषा। महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने रविवार को अयोध्या पहुंचकर राम लला के दर्शन किए और राम मंदिर के सहारे शिवसेना (उद्धव बालासाहेब ठाकरे) के नेता उद्धव ठाकरे पर निशाना साधते हुए कहा कि राम जन्मभूमि पर मंदिर निर्माण की तारीख पूछने वालों को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने घर का रास्ता दिखा दिया है।

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महाराष्ट्र का मुख्यमंत्री बनने के बाद पहली बार अयोध्या पहुंचे शिंदे ने कहा कि शिवसेना के संस्थापक बाला साहब ठाकरे का अयोध्या में भव्य और दिव्य राम मंदिर निर्माण का सपना अब पूरा हो रहा है।

अयोध्या में सुबह रामकथा हेलीपैड पर उतरे शिंदे ने पहले रामलला और फिर हनुमानगढ़ी में दर्शन किए। इस दौरान उनके साथ महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस और कैसरगंज से भाजपा सांसद ब्रजभूषण शरण सिंह भी थे।

शिंदे ने इस मौके पर अपने संबोधन में महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे पर निशाना साधते हुए कहा, पहले कुछ लोग कहते थे कि मंदिर वहीं बनाएंगे, लेकिन तारीख नहीं बताएंगे, मगर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सबको झुठला दिया है और राम मंदिर का निर्माण शुरू कर दिया है। मंदिर भी बन रहा है और तारीख भी उन्होंने बता दी है, और जो (तिथि) पूछ रहे थे, उनको घर का रास्ता भी दिखा दिया है।

गौरतलब है कि उद्धव ठाकरे अयोध्या मामले पर साल 2019 में उच्चतम न्यायालय का फैसला आने से पहले भाजपा पर निशाना साधते हुए अक्सर कहते थे कि भाजपा के लोग कहते हैं कि ‘मंदिर वहीं बनाएंगे, लेकिन तारीख नहीं बताएंगे।’

शिंदे ने उद्धव ठाकरे पर हमले जारी रखते हुए कहा, ‘जो लोग कहते हैं कि रावण राज है, अब मैं उन लोगों को कहूंगा कि हनुमान चालीसा का पाठ करने वाले (निर्दलीय) सांसद नवनीत राणा और विधायक रवि राणा को देशद्रोह का कानून लगाकर जेल में डालने का पाप किया था, वह रावण है या राम है, बताओ?’

उन्होंने मई 2020 में महाराष्ट्र के नांदेड़ में हुई साधुओं की हत्या के मामले का भी जिक्र करते हुए कहा, ‘साधुओं का हत्याकांड जब हुआ तो वह (उद्धव) चुपचाप बैठे थे, लेकिन हमारी सरकार में न साधु कांड होगा और न ही गरीब लोगों पर अन्याय होगा। साधुओं का सम्मान करेंगे, उनकी रक्षा करेंगे। महाराष्ट्र में अब रामजी के आशीर्वाद से बनी सरकार काम कर रही है।’

शिंदे ने कहा, ‘अयोध्या में हम लोगों ने रामलला के दर्शन किए और वहां राम मंदिर निर्माण का काम भी देखा। मुझे इस बात की खुशी है कि इस बार प्रभु रामचंद्रजी का धनुष-बाण (शिवसेना का चुनाव चिह्न) लेकर हम आए हैं। सबसे बड़ी खुशी की बात यह है कि हमारे हिंदू हृदय सम्राट बाला साहब ठाकरे का जो सपना था, लाखों-करोड़ों राम भक्तों का जो सपना था कि अयोध्या में भव्य राम मंदिर का निर्माण हो, वह पूरा हो रहा है।’

उन्होंने कहा, ‘मैं आप सबको धन्यवाद दूंगा कि राम मंदिर का सपना अपनी आंखों के सामने पूरा होते दिखाई दे रहा है। इसके लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और राज्य के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को धन्यवाद देना चाहता हूं।’’

शिंदे ने ऐलान करते हुए कहा, हम यहां से अयोध्या की मिट्टी लेकर अमरावती जाएंगे और वहां 111 फुट की बजरंगबली की प्रतिमा स्थापित करेंगे। यह भी हमारे लिए बहुत बड़ी बात है।

उन्होंने कहा कि राम मंदिर निर्माण के लिए सागौन की लकड़ी महाराष्ट्र से आ रही है। यह बहुत सौभाग्य की बात है कि राम मंदिर निर्माण में महाराष्ट्र का भी छोटा-सा योगदान दिखाई पड़ रहा है।

शिंदे ने अयोध्या रवाना होने से पहले लखनऊ में संवाददाताओं से कहा, मैं भगवान राम के दर्शन के लिए अयोध्या जा रहा हूं। हमारे पास भगवान राम का आशीर्वाद है, इसलिए धनुष-बाण (शिवसेना का चुनाव चिह्न) हमारे साथ है।

शिंदे के साथ महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस और उत्तर प्रदेश के मंत्री स्वतंत्र देव सिंह भी नजर आए।

फडणवीस ने इस मौके पर कहा, यह मेरे लिए अत्यंत प्रसन्नता की बात है कि मैं अयोध्या में रामलला के दर्शन करने जा रहा हूं। बहुत दिनों से मेरी यह इच्छा थी कि मैं दर्शन करने जाऊं। आज हमारे मुख्यमंत्री (एकनाथ शिंदे) आए हैं। मैं उनके साथ दर्शन करने जा रहा हूं। मैं राम जन्मभूमि आंदोलन का हिस्सा रहा हूं और वहां कार सेवा के दौरान भी मौजूद रहा हूं।

पिछले साल जून में महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री के रूप में शपथ लेने के बाद शिंदे की अयोध्या की यह पहली यात्रा है।

शिंदे की अयोध्या यात्रा को पूरे देश में उजागर करने के लिए शिवसेना ने एक योजना तैयार की है।

इससे पहले, शिंदे ने राम जन्मभूमि-बाबरी मस्जिद भूमि विवाद में उच्चतम न्यायालय द्वारा फैसला सुनाए जाने से एक साल पहले 25 नवंबर, 2018 को शिवसेना नेता के रूप में अयोध्या का दौरा किया था। उन्होंने मार्च 2020 और पिछले साल जून में भी अयोध्या का दौरा किया था।

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