सांसदों, विधायकों के खिलाफ मामलों के लिए फास्ट ट्रैक अदालतों के पक्ष में जेटली

सांसदों, विधायकों के खिलाफ मामलों के लिए फास्ट ट्रैक अदालतों के पक्ष में जेटली

नई दिल्ली। सांसदों, विधायकों के खिलाफ आपराधिक मामलों की शीघ्र सुनवाई के लिए फास्ट ट्रैक अदालतें गठित किए जाने के पक्ष में राय जाहिर करते हुए आज वित्त मंत्री अरूण जेटली ने राज्यसभा में कहा कि सांसदों को खुद ही आगे आ कर इस बारे में नजीर देना चाहिए।उच्च सदन के नेता जेटली ने सांसदों, विधायकों के खिलाफ आपराधिक मामलों की शीघ्र सुनवाई के लिए फास्ट ट्रैक अदालतें गठित किए जाने को लेकर विपक्षी सदस्यों द्वारा चिंता जताए जाने पर कहा कि उनकी अपनी राय है कि राजनीतिज्ञों को संदेह से परे होना चाहिए।उन्होंने कहा कि निर्वाचित प्रतिनिधि के तौर पर सांसद ऐसा कैसे कह सकते हैं कि उनके खिलाफ सुनवाई में विलंब होना चाहिए। उन्होंने कहा कि राजनीतिक दलों को इस बारे में खुद ही पहल कर नजीर देनी चाहिए। आप सांसद हैं, आपको उदाहरण स्थापित करना चाहिए। समाजवादी पार्टी और कांग्रेस के सदस्यों ने उच्च सदन की बैठक शुरू होने पर व्यवस्था के प्रश्न के तहत यह मुद्दा उठाया। उन्होंने कहा कि हाल ही में उच्च्तम न्यायालय ने केंद्र को सांसदों, विधायकों सहित राजनीतिक हस्तियों के खिलाफ आपराधिक मामलों की सुनवाई के लिए फास्ट ट्रैक अदालतें गठित करने के लिए एक मसौदा तैयार करने का आदेश दिया था। सपा के नरेश अग्रवाल ने कहा कि संविधान के अनुच्छेद १४ में साफ साफ कहा गया है कि आम नागरिक हों या निर्वाचित प्रतिनिधि हों, कानून के आगे सब समान हैं। ऐसे में सांसदों, विधायकों सहित राजनीतिक हस्तियों के खिलाफ आपराधिक मामलों की सुनवाई के लिए फास्ट ट्रैक अदालतें गठित कैसे की जा सकती हैं। वह भी तब जब आतंकवादियों और दुर्दान्त अपराधियों के खिलाफ सुनवाई के लिए कोई विशेष अदालतें नहीं हैं। निर्वाचित जन प्रतिनिधियों के खिलाफ मामलों की सुनवाई के लिए विशेष अदालतों के गठन से से तो राजनीतिज्ञों को लेकर गलत भावना पैदा होगी। ैं

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