बोम्मई ने कांग्रेस को बढ़त वाले चुनाव पूर्व सर्वेक्षणों को खारिज किया, कहा- भाजपा ...

एक साक्षात्कार में बोम्मई ने कहा

बोम्मई ने कांग्रेस को बढ़त वाले चुनाव पूर्व सर्वेक्षणों को खारिज किया, कहा- भाजपा ...

बोम्मई ने यह भी आरोप लगाया कि कांग्रेस ‘चुनावी वाद-विवाद’ को निचले स्तर पर ले गई है

शिग्गांव/भाषा। कर्नाटक के मुख्यमंत्री बसवराज बोम्मई ने राज्य में 10 मई को होने जा रहे विधानसभा चुनाव में विपक्षी दल कांग्रेस को बढ़त दिखाने वाले चुनाव पूर्व सर्वेक्षणों को शुक्रवार को खारिज कर दिया और विश्वास जताया कि उनकी पार्टी भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) जनता दल (सेक्युलर) के समर्थन के बिना ‘आसानी से बहुमत’ हासिल कर सत्ता में वापसी करेगी।

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एक साक्षात्कार में बोम्मई ने कहा कि उनकी पार्टी के सत्ता में आने पर वे मुख्यमंत्री बने रहेंगे या नहीं, इस पर फैसला भाजपा आलाकमान और पार्टी का संसदीय बोर्ड करेगा।

हुब्बली-धारवाड़ सेंट्रल से एक बार फिर चुनाव लड़ने के लिए भाजपा द्वारा पूर्व मुख्यमंत्री जगदीश शेट्टर को टिकट नहीं दिए जाने का बचाव करते हुए उन्होंने कहा कि वे (शेट्टर) चुनाव हार जाएंगे। 

भाजपा द्वारा टिकट नहीं दिए जाने के बाद शेट्टर कांग्रेस में शामिल हो गए हैं। बोम्मई ने दावा किया कि साल 2019 में कांग्रेस-जद (एस) के नेतृत्व वाली सरकार को गिराने में भाजपा की मदद करने वाले 14 बागी विधायक अपने संबंधित क्षेत्रों से जीत दर्ज करेंगे।

बोम्मई ने यह भी आरोप लगाया कि कांग्रेस ‘चुनावी वाद-विवाद’ को निचले स्तर पर ले गई है।

बोम्मई ने कहा, ‘कांग्रेस को कोई फायदा नहीं होने वाला है। हम जानते हैं कि ये सर्वेक्षण कैसे किए जाते हैं। मैं आसानी से बहुमत हासिल करने की उम्मीद करता हूं।’ उन्होंने यह भी कहा कि संभव है, पार्टी को जद (एस) के समर्थन की कोई जरूरत नहीं पड़े।

उन्होंने कहा, ‘इसकी (जद (एस) के समर्थन की) कोई जरूरत नहीं होगी। हम पूर्ण बहुमत हासिल करेंगे।’

यह पूछे जाने पर कि क्या शेट्टर के जाने से लिंगायत समुदाय के वोटों पर असर पड़ेगा, मुख्यमंत्री ने कहा, ‘नहीं, बिल्कुल नहीं। हम शेट्टर की सीट पर भी जीत दर्ज करेंगे।’ प्रमुख लिंगायत समुदाय कर्नाटक की आबादी का 17 प्रतिशत है।

उन्होंने कहा, ‘उनकी पृष्ठभूमि और इतिहास को देखते हुए यह न तो भाजपा और न ही कांग्रेस के कुछ समर्थकों के लिए स्वीकार्य है।’

जाति आधारित आरक्षण के सवाल पर उन्होंने कहा कि अन्य पिछड़ा वर्ग (ओबीसी) के तहत आंतरिक आरक्षण और अन्य चीजें काफी समय से लंबित मांग हैं और मैंने उनका ‘समाधान किया है’।

उन्होंने कहा कि पहले कई लोगों को लाभ नहीं होता था, क्योंकि आरक्षण आबादी के अनुरूप नहीं दिया जा रहा थ। उन वर्गों के लोगों को अब आंतरिक आरक्षण से उम्मीद जगी है।

उन्होंने कहा, ‘हमने आंतरिक आरक्षण की सिफारिश की, आखिर में केंद्र सरकार ने भी इस पर संज्ञान लिया।’

चुनाव से पूर्व राज्य सरकार ने लिंगायत और वोक्कालिगा समुदायों को ओबीसी में शामिल कर उन्हें आरक्षण का लाभ देने के लिए दो नई श्रेणियों का निर्माण किया।

बोम्मई ने उनके नेतृत्व वाली सरकार में ‘40 प्रतिशत कमीशन’ के कांग्रेस के आरोप का खंडन किया और चुनौती देते हुए कहा, ‘प्रेस या विपक्ष या ठेकेदार का संगठन एक भी मामला (हमारी सरकार के खिलाफ) लेकर आए। मैं उसका जवाब दूंगा।’

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