झील की तलहटी में 1,500 करोड़ का अमोनियम नाइट्रेट

झील की तलहटी में 1,500 करोड़ का अमोनियम नाइट्रेट

बेंगलूरु। जाने माने वैज्ञानिक रामचंद्रा ने शुक्रवार को कहा कि मौजूदा समय में प्रदूषित होने के कारण विवादों में आई बेलंदूर झील की तलहटी से गाद की सफाई कर इसे आसानी से पुनस्र्थापित किया जा सकता है। भारतीय विज्ञान संस्थान के वैज्ञानिक ने कहा कि इसे कार्य को उद्योगों के सहयोग से पूरा किया जा सकता है। उन्होंने शुक्रवार को यहां पर बंंेंगलूरु चेम्बर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री (बीसीआईसी) द्वारा वर्षा जल संरक्षण और जल संरक्षण पर आयोजित एक कार्यशाला के दौरान यह बात कही। उन्होंने कहा कि सिर्फ झील से गाद की सफाई करके किसी समय प्राचीन जल निकाय रही इस झील को दोबारा जीवित किया जा सकता है। इस झील की वनस्पति और जीवों तथा इसके जीव चक्र को इसकी तलहटी में वर्षों से जमे प्रदूषक तत्वों को हटाने के बाद दोबारा निर्मित किया जा सकता है।उन्होंने कहा कि सरकार को इस झील की सफाई के कार्य को करने में आने वाले खर्च को लेकर चिंतित नहीं होना चाहिए इसके बदले यह उद्योगों का सहारा ले सकती है और इससे निकलने वाली गाद को किसानों और ईंट भट्टी संचालकों को बेच सकती है जो झील से निकलने वाली उवर्रक गाद को खरीदने के लिए ज्यादा इच्छुक होंगे। उन्होंने कहा कि बेलंदूर झील की तलहटी में १,५०० करो़ड रुपए कीमत का सत्तर लाख क्यूबिक मीटर एनकेपी (अमोनियम नाइट्रेट) है। अगर उद्योग या अन्य निकाय कॉर्पोरेट सामाजिक दायित्व या अन्य सामाजिक सेवा के तहत इस कार्य को करते हैं तो सरकार को इससे नुकसान होने के बजाय फायदा होगा। उन्होंने बेलंदूर झील के किनारे स्थित ब़डे अपार्टमेंटों और उद्योगों की आलोचना की जो इस झील को मृत बनाने के लिए जिम्मेदार हैं।उन्होंने इस बात पर हैरानी जाहिर की सरकार ने झील के किनारे इन बहुमंजिली इमारतों को बनाने की परियोजना को मंजूरी कैसे दे दी? उन्होंने कहा कि यह काफी दिलचस्प है कि सरकार ने झील के किनारे न सिर्फ इन बहुमंजिली इमारतों को बनाने की मंजूरी दी बल्कि इन्हें झील को प्रदूषित करने की भी मंजूरी दे दी। इस कार्यक्रम में उपस्थित लोगों को संबोधित करते हुए तेजस्विनी अनंत कुमार ने बेंगलूरु के सभी नागरिकों को पौधे लगाने और पानी को बर्बाद नहीं करने का अनुरोध किया। उन्होंने कहा कि अगर हम प्रकृति के इस बहुमूल्य संसाधन को इसी प्रकार बर्बाद करते रहेंगे तो आने वाले दिनों में यह काफी कम रह जाएगा। इसी क्रम में बंेंगलूरु चेम्बर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री के अध्यक्ष तियाुग वल्लियप्पा ने कार्यशाला के दौरान इस बात का आश्वासन दिया कि सरकार जल से संंबंधित परियोजनाओं का समर्थन करने के लिए और झील को पुनर्जीवित करने के लिए रणनीतियां तैयार करेेगी।

Dakshin Bharat at Google News
बेलंदूर झील की तलहटी में 1,500 करोड़ रुपए कीमत का सत्तर लाख क्यूबिक मीटर एनकेपी (अमोनियम नाइट्रेट) है। अगर उद्योग या अन्य निकाय कॉर्पोरेट सामाजिक दायित्व या अन्य सामाजिक सेवा के तहत इस कार्य को करते हैं तो सरकार को इससे नुकसान होने के बजाय फायदा होगा।

Tags:

About The Author

Dakshin Bharat Android App Download
Dakshin Bharat iOS App Download

Latest News

तमिलनाडु सरकार ने केंद्र से कहा- 'सोलर रूफटॉप योजना के लिए नई शर्तें न लगाएं' तमिलनाडु सरकार ने केंद्र से कहा- 'सोलर रूफटॉप योजना के लिए नई शर्तें न लगाएं'
Photo: officialsenthilbalaji FB Page
अनूठे और नए कलेक्शन के साथ आ रही ​हाई लाइफ प्रदर्शनी
कांग्रेस अब आदिवासी समाज को जातियों में बांटकर कमजोर करना चाहती है: मोदी
झारखंड में यूसीसी जरूर आएगी, आदिवासियों को इसके दायरे से बाहर रखा जाएगा: शाह
एलन मस्क की स्टारलिंक को भारत में लाइसेंस के संबंध में ज्योतिरादित्य सिंधिया ने दिया महत्त्वपूर्ण बयान
कर्नाटक सरकार ने अभूतपूर्व स्तर पर काम किया, उपचुनाव में लोग वोट देंगे: कांग्रेस
हंसाकर लोटपोट करने वाली इस फिल्म का बनेगा सीक्वल, अक्षय समेत वापसी करेगी 'ख़ास' तिकड़ी?