‘युद्ध में शहादत देने वालों और गोलियां झेलने वालों के लिए बनेगा नया कानून’

‘युद्ध में शहादत देने वालों और गोलियां झेलने वालों के लिए बनेगा नया कानून’

बेंगलूरु/दक्षिण भारतपूर्व सैनिकों को युद्ध के दौरान घायल होने पर विभिन्न सुविधाएं देने और शहीद होने पर उनके परिजनों को पर्याप्त मुआवजा देने के लिए राज्य सरकार एक नया कानून पारित करवाने पर सक्रियता से विचार कर रही है। गुरुवार को कारगिल विजय दिवस के मौके पर शहीदों को श्रद्धांजलि देने के लिए यहां आयोजित एक कार्यक्रम में भाग लेने के बाद उप मुख्यमंत्री और गृह मंत्री डॉ. जी. परमेश्वर ने इस बात की जानकारी दी। यह कार्यक्रम यहां स्थित राष्ट्रीय सैन्य स्मारक पर आयोजित किया गया। उप मुख्यमंत्री परमेश्वर ने कहा, ’’नया प्रस्तावित कानून यह सुनिश्चित करेगा कि शहीदों के परिजनों को तीन महीने के अंदर उचित मुआवजे की रकम सौंप दी जाए्। कारगिल युद्ध के दौरान वर्ष १९९९ में भारत के ५०० से अधिक सैनिकों ने देश के लिए अपनी शहादत दी थी। यह हमारा पवित्र कर्तव्य है कि हम उनकी सेवा करें और उन सैनिकों के हितों की रक्षा करें, जो आज भी हमारे बीच मौजूद हैं। चूंकि सेना के जवान और अधिकारी देश की रक्षा करने के लिए अपनी जान तक कुर्बान कर देते हैं, इसलिए उनके परिजनों को मुआवजा देने में जरूरत से ज्यादा देरी नहीं की जानी चाहिए। हालांकि पूर्व सैनिकों के कल्याण के लिए सैनिक कल्याण बोर्ड पहले से गठित किया जा चुका है लेकिन इस बात की शिकायतें काफी आम हैं कि घायल सैनिकों को सभी सुविधाएं नहीं मिल पाती हैं और न ही शहीदों के परिजनों को सही वक्त पर मुआवजे का भुगतान हो पाता है। यह शिकायतें दूर करने के लिए ही राज्य सरकार ने नया कानून बनाने पर विचार शुरू कर दिया है। जल्दी ही विधानसभा से यह कानून पारित करवाया जाएगा।’’

Tags:

About The Author

Dakshin Bharat Android App Download
Dakshin Bharat iOS App Download