निर्वाचन आयोग ने दिनाकरण के सिर से उतारा ‘हैट’
निर्वाचन आयोग ने दिनाकरण के सिर से उतारा ‘हैट’
चेन्नई। अखिल भारतीय अन्ना द्रवि़ड मुनेत्र कषगम (अन्नाद्रमुक) से दरकिनार किए जा चुके टीटीवी दिनाकरण पार्टी के मूल चुनाव चिन्ह ’’दो पत्तियों’’ का निशान प्राप्त करने के लिए अपनी ल़डाई पहले ही हार चुके थे और अब आयोग ने उनसे ‘हैट’’ चुनाव चिन्ह भी छीन लिया है। अन्नाद्रमुक के दिनाकरण गुट को अप्रैल में होने वाले उपचुनाव के दौरान पन्नीरसेल्वम द्वारा विरोध करने और पार्टी के मूल चुनाव चिन्ह ‘दो पत्तियों’’ के निशान पर दावेदारी पेश करने के बाद ‘हैट’’चुनाव चिन्ह आवंटित किया था। हालांकि आयोग ने २१ दिसंबर को होने वाले उपचुनाव से पहले उनके सिर से ‘हैट’’ उतार कर उनके हाथों में ‘प्रेशर कुकर’’ थमा दिया है। ज्ञातव्य है कि दिनाकरण ने चुनाव आयोग से मांग की थी कि पूर्व में उनके लिए आवंटित चुनाव चिन्ह (हैट) उन्हें फिर दिया जाए लेकिन आयोग की ओर से उन्हें सूचित किया गया कि हैट’’ चुनाव चिन्ह एनकेएमके (नमातू कोंगू मुनेत्र कषगम) के उम्मीदवार एम रमेश को आवंटित हो चुका है। एनकेएमके पंजीकृत पार्टी है इसलिए उन्हें यह चुनाव चिन्ह नहीं दिया जा सकता। हालांकि उन्होंने आयोग से हैट चुनाव चिन्ह प्राप्त करने के लिए दिल्ली उच्च न्यायालय का दरवाजा भी खटखटाया था लेकिन न्यायालय से भी उन्हें कोई राहत नहीं मिली। आयोग ने दिनाकरण से कहा कि वह ऐसे चुनाव चिन्ह में से अपने लिए कोई चुनाव चिन्ह चुन सकते हैं जो अभी तक किसी को आवंटित नहीं किया गया है। इस सूची में शामिल १६० अन्य चुनाव चिन्हों में से दिनाकरण ने अपने लिए ‘प्रेशर कुकर’’ चुनाव चिन्ह चुना। निर्वाचन अधिकारी वेलूस्वामी ने इस संबंध में पत्रकारों को बताया कि आयोग द्वारा चुनाव चिन्ह आवंटित करने की एक मानक प्रक्रिया है जिसके तहत किसी भी निर्दलीय या नए प्रत्याशी को सिर्फ ऐसे चुनाव चिन्ह का आवंटन किया जाता है जो किसी अन्य पार्टी या स्वतंत्र प्रत्याशी को आवंटित नहीं किया गया हो। दिनाकरण एक निर्दलीय प्रत्याशी के रुप में चुनाव ल़ड रहे हैं और उन्होंने आयोग से जिस चुनाव चिन्ह की मांग की थी वह पहले ही एक पंजीकृत पार्टी को आवंटित किया जा चुका था। इसलिए उन्हें आयोग द्वारा दूसरे किसी चुनाव चिन्ह का चयन करने का विकल्प दिया गया। दिनाकरण ने शुक्रवार से आरके नगर विधानसभा क्षेत्र में अपना प्रचार अभियान शुरू कर दिया। वह शुक्रवार को देसिंगु नगर और चेरियन नगर जैसी बस्तियों में गए और मतदाताओं से बातचीत की। यहां पर रहने वाले ज्यादातर लोग सरकारी जमीन पर अस्थायी झुग्गी झोप़डी बनाकर रहते हैं। यहां उन्होंने मतदाताओं से वादा किया कि अगर वह जीते तो लोगों को उनके घरों का पट्टा दिलवाएंगे। उन्होंने मतदाताओं को संबोधित करते हुए कहा कि सरकार अड्यार नदी के किनारे रहने वाले लोगों सहित अन्य सरकारी जमीनों पर वर्षों से रह रहे लोगों को दूसरे स्थानों पर स्थानांतरित कर रही है जिससे लोगों को परेशानी हो रही है लेकिन वह यदि जीतते हैं तो लोगों को उस स्थान का ही पट्टा दिलाएंगे जहां पर रहकर वह वषार्ें से रोजी रोटी कमा रहे हैं। उन्होंने पत्रकारों से अपने नए चुनाव चिन्ह (प्रेशर कुकर) के बारे में भी बातचीत की। उन्होंने कहा कि मैंने प्रेशर कुकर चुनाव चिन्ह इसलिए चुना ताकि विरोधियों को दबाव (प्रेशर) का अहसास करा सकूं। दिनाकरण ने कहा कि मुझे इस बात का विश्वास है कि आरके नगर की जनता मेरा समर्थन करेगी। उन्होंने कहा कि जनता पिछले कुछ महीनों से यह देख रही है कि किस प्रकार पूर्व मुख्यमंत्री जयललिता की पार्टी को तहस नहस करने की कोशिश की जा रही है। ऐसे में जनता किसी भी हालत में उन लोगों को वोट नहीं देगी जिन्होंने पूर्व मुख्यमंत्री के चुनाव चिन्ह को धोखे से ह़डपा है।’’ ़गौरतलब है कि आरके नगर सीट पर कुल ५९ प्रत्याशी हैं। इनमें दिनाकरण के साथ ही द्रवि़ड मुनेत्र कषगम की ओर से मरुदु गणेश, भारतीय जनता पार्टी के कारू नागराजन और अन्नाद्रमुक के सत्तारुढ ध़डे से ई मधुसूदनन प्रमुख प्रत्याशियों में शामिल हैं।