मोदी की अपील का असर: छात्र और शिक्षक बोले- जरूर करेंगे जल संरक्षण

मोदी की अपील का असर: छात्र और शिक्षक बोले- जरूर करेंगे जल संरक्षण

सांकेति​क चित्र

नई दिल्ली/भाषा। लाल किले पर स्वतंत्रता दिवस समारोह में हिस्सा लेने वाले कई बच्चों और शिक्षकों के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के भाषण की सबसे अहम बात जल संरक्षण को लेकर दिया गया उनका संदेश था।

राष्ट्र के नाम अपने लगभग 95 मिनट के संबोधन में मोदी ने देश में बढ़ते जल संकट का जिक्र किया और कहा कि देश के आधे घरों में पेयजल नहीं है। प्रधानमंत्री मोदी की जल संरक्षण वाली बात समारोह में शामिल हुए कई शिक्षकों और छात्रों को बेहद पसंद आई।

राजकीय सर्वोदय कन्या विद्यालय की 14 वर्षीय छात्रा प्रिंसु पाठक ने कहा, मुझे यह जानकर दुख हुआ कि मेरी उम्र के कई बच्चों को स्वच्छ पेयजल नहीं मिलता। हमारा शहर भी जल संकट से जूझ रहा है और इससे निपटने के लिये कदम उठाए जा रहे हैं। पानी बचाने की जिम्मेदारी सिर्फ सरकार की नहीं बल्कि सबकी है।

सर्वोदय कन्या विद्यालय की शिक्षिका रेखा वर्मा ने कहा, मुख्य मुद्दा यह है कि जिन लोगों के पास पर्याप्त पानी है, उन्हें लगता है कि यह उनकी समस्या नहीं है। इस रवैए में बदलाव होना चाहिए। महज आधा लीटर पानी बचाने से भी किसी की जिंदगी बच सकती है।

कक्षा आठ की छात्रा लक्ष्मी ओमप्रकाश ने कहा कि कई जगहों पर जहां पेयजल पर्याप्त नहीं है, बच्चे अक्सर अपने घरों के लिए पानी इकट्ठा करते हैं और यह कार्य उन्हें विद्यालय से दूर रखता है।

लक्ष्मी ने कहा, निश्चित रूप से मैं अपना सर्वश्रेष्ठ दूंगी और अपने माता-पिता, रिश्तेदारों और दोस्तों समेत दूसरे लोगों से भी कहूंगी कि इसमें शामिल हों। साथ मिलकर हम अपने जैसे दूसरे बच्चों के जीवन में बदलाव ला सकते हैं।

कक्षा पांच की छात्रा सुनीत गुप्ता ने कहा कि जल संरक्षण जरूरी है क्योंकि देश में पानी की कमी है। सुनीत ने कहा, नल का इस्तेमाल करने के बाद हमें उसे बंद करना चाहिए। मैं अपने दोस्तों से भी कहूंगी कि पानी बर्बाद न करें।

रूप नगर स्थित राजकीय सर्वोदय विद्यालय की शिक्षिका आशा महलवाल ने कहा, हम छात्रों को बताते हैं कि जब इस्तेमाल न कर रहे हों तो नल को बंद रखें। हम उन्हें जल संरक्षण के लिए हर प्रयास करने को कहते हैं। इस प्रयास में लोगों की ज्यादा भागीदारी चाहिए। प्रधानमंत्री का भाषण सबको प्रेरित करेगा।

स्वतंत्रता दिवस पर अपने संबोधन में मोदी ने ‘जल जीवन’ अभियान की घोषणा की जिसका मकसद सभी घरों तक पाइप से पेयजल आपूर्ति सुनिश्चित करना है। प्रधानमंत्री ने कहा कि इसके लिए साढ़े तीन लाख करोड़ रुपए खर्च किए जाएंगे।

About The Author: Dakshin Bharat